जानिए काजल (सुरमा) के 8 चमत्कारिक टोटका :
अंजन को आम भाषा में काजल या सुरमा कहा जाता है। सुरमा दो तरह का होता है। एक सफेद सुरमा और दूसरा काला सुरमा। काले सुरमे का काजल बनता है। एक समय था जब काजल-सुरमा घरों में ही बनाया जाता था। यहां हम लाए हैं काजल के 8 उपाय…
यदि आपके परिवार में हमेशा कलह रहता हो पारिवारिक सदस्य सुख शांति से न रहते हो तो शनिवार के दिन सुबह काले कपड़े में जटा वाले नारियल को लपेटकर उस पर काजल की 21 बिंदी लगा लें। और घर के बाहर लटका दें। हमेशा घर बुरी नजर से बच कर रहेगा और हमेशा सुख-शांति रहेगी। यह उपाय घर और घर के मालिक की किस्मत बदल सकता है।
रवि पुष्य योग (रविवार के दिन पुष्य नक्षत्र) में गूलर के फूल एवं कपास की रूई मिलाकर बत्ती बनाएं तथा उस बत्ती को मक्खन से जलाएं। फिर जलती हुई बत्ती की ज्वाला से काजल निकालें। इस काजल को रात में अपनी आंखें में लगाने से हर कोई वश में हो जाता है। ऐसा काजल किसी को नहीं देना चाहिए।
नवजात की आंखों में काजल लगाना देश के विभिन्न हिस्सों में प्रचलित एक सदियों पुराना रिवाज है। शिशु को बुरी नजर से बचाने के लिए उसकी आंखों में सुरमा या काजल लगाया जाता है। पुरानी परंपरा के अनुसार काजल या सुरमा लगाने से शिशु की आंखें उज्ज्वल, बड़ी और आकर्षक दिख सकती हैं। मगर, कोई शोध यह बात साबित नहीं करता है। यह बच्चों के लिए नुकसानदायक भी हो सकता है।
यदि आप वास्तव में अपने शिशु को सुरमा या काजल लगाना चाहती हैं, तो क्यों न इसे आंखों के अलावा कहीं और लगाया जाए? कुछ माताएं पैर के तलवे, कान के पीछे या माथे की कपालरेखा पर एक छोटा-सा टीका लगाती हैं। ये सब सुरक्षित विकल्प भी है और इसे बच्चों को नजरदोष से भी बचाया जा सकता हैं।
काला सुरमा एक शीशी में लेकर अपने ऊपर से शनिवार को नौ बार सिर से पैर तक किसी से उतरवाकर सुनसान जमीन में गाड़ देवें। गाड़ने के बाद पीछे पलटकर न देखें और जिस औजार से गड्डा खोदा गया है उसे भी वहीं छोड़ आएं। इससे शनि का दोष दूर होता है। प्रत्येक शनिवार को रात्रि में सोते समय आंखों में काजल या सुरमा लगाएं।
यदि आपकी कुंडली में मंगल खराब असर देने वाला सिद्ध हो रहा हो, नीच का हो या कुंडली मांगलिक हो तो सफेद सुरमा आंखों में लगाए। इससे आपका मंगल शुभ असर देना शुरू कर देगा।
नौकरी जाने का खतरा हो या ट्रांसफर रुकवाना हो, यह प्रयोग लाभकारी है। पांच ग्राम डली वाला सुरमा लें और उसे किसी सुनसान जगह पर गाड़ दें। ध्यान रखें कि सुरमा डली वाला हो और एक ही डली लगभग 5 ग्राम की हो। एक से ज्यादा डलियां नहीं होनी चाहिए। यह भी ध्यान रखें कि गाड़ने के बाद जिस औजार से आपने जमीन खोदी थी उस औजार को वापिस न लाएं, उसे वहीं फेंक दें।
राहु की शांति के लिए : अचानक धोखा, धननाश या घटना-दुर्घटना के लिए राहु जिम्मेदार होता है। यदि आपका राहु अशुभ भाव या स्थिति में है तो इसका उपाय करना चाहिए। इसके लिए आप बहते पानी में 400 ग्राम सुरमा बहाएं।
शनि के दुष्प्रभाव के कारण विवाह में विलम्ब हो रहा है तो शनिवार के दिन लकड़ी से भूमि खोदकर काला सुरमा दबाना चाहिए।
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ज्योतिषाचार्य प्रदीप कुमार
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जय माँ कामाख्या