Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke

Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke :

1) अगर परिवार में कोई व्यक्ति बीमार है तथा लगातार औषधि सेवन के पश्चात् भी स्वास्थ्य लाभ नहीं हो रहा है, तो किसी भी रविवार से आरम्भ करके लगातार 3 दिन तक गेहूं के आटे का पेड़ा तथा एक लोटा पानी व्यक्ति के सिर के ऊपर से उबार कर जल को पौधे में डाल दें तथा पेड़ा गाय को खिला दें । अवश्य ही इन 3 दिनों के अन्दर व्यक्ति स्वस्थ महसूस करने लगेगा । अगर यह चमत्कारी टोटके ( Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke) की अवधि में रोगी ठीक हो जाता है, तो भी प्रयोग को पूरा करना है, बीच में रोकना नहीं चाहिए ।
 
2) अमावस्या को प्रात: मेंहदी का दीपक पानी मिला कर बनाएं । तेल का चौमुंहा दीपक बना कर 7 उड़द के दाने, कुछ सिन्दूर, 2 बूंद दही डाल कर 1 नींबू की दो फांकें शिवजी या भैरों जी के चित्र का पूजन कर, जला दें । महामृत्युजंय मंत्र की एक माला या बटुक भैरव स्तोत्र का पाठ कर रोग-शोक दूर करने की भगवान से प्रार्थना कर, घर के दक्षिण की ओर दूर सूखे कुएं में नींबू सहित डाल दें । पीछे मुड़कर नहीं देखें । उस दिन एक ब्राह्मण -ब्राह्मणी को भोजन करा कर वस्त्रादि का दान भी कर दें । कुछ दिन तक पक्षियों, पशुओं और रोगियों की सेवा तथा दान-पुण्य भी करते रहें । इस चमत्कारी टोटके (Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke) से घर की बीमारी, भूत बाधा, मानसिक अशांति निश्चय ही दूर होती है ।
 
3) किसी पुरानी मूर्ति के ऊपर घास उगी हो तो शनिवार को मूर्ति का पूजन करके, प्रात: उसे घर ले आएं । उसे छाया में सुखा लें । जिस कमरे में रोगी सोता हो, उसमें इस घास में कुछ धूप मिला कर किसी भगवान के चित्र के आगे अग्नि पर सांय, धूप की तरह जलाएं और मन्त्र विधि से ” ॐ माधवाय नम:ॐ अनंताय नम:। ॐ अच्युताय नम:।” मन्त्र की एक माला का जाप करें । कुछ दिन में रोगी स्वस्थ हो जायेगा । दान-धर्म और दवा उपयोग अवश्य करें । इस टोटके (Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke) से दवा का प्रभाव बढ़ जायेगा ।
 
4). अगर बीमार व्यक्ति ज्यादा गम्भीर हो, तो जौ का 125 पाव (सवा पाव) आटा लें । उसमें साबुत काले तिल मिला कर रोटी बनाएं । अच्छी तरह सेंके, जिससे वे कच्ची न रहें । फिर उस पर थोड़ा सा तिल्ली का तेल और गुड़ डाल कर पेड़ा बनाएं और एक तरफ लगा दें । फिर उस रोटी को बीमार व्यक्ति के ऊपर से 7 बार वार कर किसी भैंसे को खिला दें । पीछे मुड़ कर न देखें और न कोई आवाज लगाए । भैंसा कहाँ मिलेगा, इसका पता पहले ही मालूम कर के रखें । भैंस को रोटी नहीं खिलानी है, केवल भैंसे को ही श्रेष्ठ रहती है । शनि और मंगलवार को ही यह चमत्कारी टोटके (Bimari Thik Karne Ke Chamatkari Totke) कार्य करें ।
 
5). पीपल के वृक्ष को प्रात: 12 बजे के पहले, जल में थोड़ा दूध मिला कर सींचें और शाम को तेल का दीपक और अगरबत्ती जलाएं । ऐसा किसी भी वार से शुरू करके 7 दिन तक करें । बीमार व्यक्ति को आराम मिलना प्रारम्भ हो जायेगा ।
 
6). किसी कब्र या दरगाह पर सूर्यास्त के पश्चात् तेल का दीपक जलाएं । अगरबत्ती जलाएं और बताशे रखें, फिर वापस मुड़ कर न देखें । यह चमत्कारी टोटके के प्रभाब से बीमार व्यक्ति शीघ्र अच्छा हो जायेगा ।
 
7). किसी तालाब, कूप या समुद्र में जहां मछलियाँ हों, उनको शुक्रवार से शुक्रवार तक आटे की गोलियां, शक्कर मिला कर, चुगावें । प्रतिदिन लगभग 125 ग्राम गोलियां होनी चाहिए । रोगी ठीक होता चला जायेगा ।
 
8). शुक्रवार रात को मुठ्ठी भर काले साबुत चने भिगोयें । शनिवार की शाम काले कपड़े में उन्हें बांधे तथा एक कील और एक काले कोयले का टुकड़ा रखें । इस पोटली को किसी तालाब या कुएं में फेंक दें । फेंकने से पहले रोगी के ऊपर से 7 बार वार दें। ऐसा 3 शनिवार करें । बीमार व्यक्ति शीघ्र अच्छा हो जायेगा ।

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जय माँ कामाख्या

Acharya Pradip Kumar is renowned as one of India's foremost astrologers, combining decades of experience with profound knowledge of traditional Vedic astrology, tantra, mantra, and spiritual sciences. His analytical approach and accurate predictions have earned him a distinguished reputation among clients seeking astrological guidance.

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