Stambhan Tantra Prayog :
यह आजमाया हुआ सिद्ध चमत्कारी प्रयोग है इसे ध्यान से करे । साधक स्तम्भन तंत्र (Stambhan Tantra) में सिद्धि प्रदान करना चाहते है तो , सर्बप्रथम महाबिद्या बगलामुखी साधना सम्पन्न करके सिद्धि करना चाहिए । बिशेष भाब से स्तम्भन प्रयोग (Stambhan Tantra Prayog) शत्रु की ऊपर प्रयोग होता है , यह उग्र प्रयोग है । सोच -बिचार के कर करें अन्यथा स्वयं का भी नुक्सान हो सकता है । इसके लिए स्वयं जिम्मेदार होंगे । यंहा पर स्तम्भन प्रयोग का कुछ उपाय दे रहा हूँ …
१. लंगड़ा आम की जड़ को कमर में बाँध कर रमण करने से देर तक स्तम्भन होता है ।
२. छिपकली की पूंछ के अग्रभाग को काटकर सफ़ेद धागे में लपेट कर उसे एक अंगुठी के भीतर रख कर, अंगूठी की कनिष्ठिका अंगुली में पहन कर रमण करने से तब तक स्खलन नहीं होता है, जब तक की अंगूठी को उतारा नहीं जाता है ।
३. फिटकरी की डली को कमर में बाँध कर रमण करने से अधिक समय तक स्तम्भन होता है ।
४. ऊँट की हड्डी में छेद करके, पलंग के सिरहाने की और बाँधकर, उसी शय्या पर रमण करने से तब तक स्खलन नहीं होता, जब तक कि हड्डी को खोल नहीं दिया जाता है ।
५. ऊँट के बालो की रस्सी बनाकर अपनी जाँघ में बाँध कर रमण करने से जब तक रस्सी को खोल नहीं जायेगा, तब तक स्खलन नहीं होगा ।
६. सोमबार के दिन लाल अपामार्ग (चिरचिटा) की जड़ को न्यौत कर मंगलबार को उखाड़ कर लाबें । उस जड़ को अपनी कमर में बाँध कर रमण करने से अधिक समय तक स्तम्भन होता है ।
ज्योतिषाचार्य प्रदीप कुमार
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