Hazrat Paigambar Ali Ki Chauki Ka Mantra :
मंत्र :”याही सार सार सार, जिन्न देब परी नबस्कं फार।
एक खाय दूसरे को फार। चहुं और अमिया पसार, मुलायक अस
चार। दुहाई दस्त्खे जिब्राइल । बाईं बे खैभि काइल,
दाईं दस्न –दस्न।हुसैन पीठ खदे खई । आमिल कलेजे राखे इज्राइल ।
दुहाई मुहम्मद अली लाहइलाह की । कंगुर लिल्लाह की खाई,
हजरत पैगम्बर अली की चौकी । नखत मुहम्मद रसुलिल्लाह की दुहाई ।।”
Hazrat Paigambar Ali Ki Chauki Ka Mantra Vidhi :
इस मंत्र को बिधि बिधान से सिद्ध कर लें। पश्चात् अपने रक्षार्थ इस मंत्र का प्रयोग करे । यह इस्लामी सर्बश्रेष्ठ रक्षा मंत्र है ।इसे सात बार जप कर ताली बजाये ,जब कंही कोई करतब आदि दिखाना होबे । श्मशान साधना या अन्य प्रयोग में रेखा बनायें तथा रोगी को झाड़ने हेतु सात बार पढ़े ।
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